कोच्चि। लक्षद्वीप प्रशासन ने द्वीपसमूह के एकमात्र आबाद द्वीप बित्रा को रक्षा उद्देश्यों के लिए अधिग्रहित करने की योजना बनाई है। इस प्रस्ताव को लेकर राजनीतिक हलकों में विरोध शुरू हो गया है। कांग्रेस सांसद हमदुल्ला सईद ने इस कदम का कड़ा विरोध करते हुए कहा है कि इसके पीछे असली मंशा स्थानीय आबादी को विस्थापित करना है।
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सांसद सईद ने कहा कि वे इस निर्णय का विरोध करने के लिए सभी राजनीतिक और कानूनी विकल्पों पर विचार कर रहे हैं। साथ ही उन्होंने घोषणा की कि वे आगामी संसद सत्र में यह मुद्दा जोरशोर से उठाएंगे और केंद्र सरकार से इस मामले में तत्काल हस्तक्षेप की मांग करेंगे।
हाल में जारी हुई थी अधिसूचना
गौरतलब है कि हाल ही में राजस्व विभाग द्वारा बित्रा द्वीप के पूरे भू-क्षेत्र को अपने अधीन लेने के प्रस्ताव की अधिसूचना जारी की गई थी। अधिसूचना में यह भी उल्लेख किया गया है कि इस भूमि का हस्तांतरण केंद्र सरकार की रक्षा और रणनीतिक एजेंसियों को किया जाएगा।
सरकार का कहना है कि यह कदम राष्ट्रीय सुरक्षा, द्वीप की रणनीतिक स्थिति और प्रशासनिक आवश्यकताओं को ध्यान में रखते हुए उठाया गया है। हालांकि, इस प्रस्ताव के चलते स्थानीय लोगों में असुरक्षा और आक्रोश का माहौल बन गया है।